Travel History

Old Goa Church: इसपर क्यों नहीं टिका कोई भी क्रॉस, ड्राइवर ने सुनाया हैरत भरा इतिहास

Old Goa Church:  गोवा की राजधानी पणजी में एक चर्च है जिसका नाम ‘बेसिलिका ऑफ बॉम जीसस’ है। यहां पर सेंट फ्रांसिस जेवियर का शरीर 450 साल से सुरक्षित रूप से रखा गया है। ऐसा कहते हैं कि फ्रांसिस जेवियर की डेड बॉडी में आज भी दिव्य शक्तियां मौजूद हैं, जिस वजह से ये आज तक खराब नहीं हुई है। हर साल इस चर्च को देखने के लिए यहां पर देश और विदेश से हजारों पर्यटक आते हैं। आज ट्रैवल जुनून पर हम इस चर्च के इतिहास और इससे जुड़ी कुछ दिसचस्प बातें जानेंगे, तो सबसे पहले जानते हैं कि सेंट फांसिस जेवियर कौन थे।

आपको बता दें कि सेंट फ्रांसिस जेवियर एक संत और उससे पहले वो एक सिपाही थे। वो इग्नाटियस लोयोला के स्टूडेंट थे। इग्नाटियस ने ‘सोसाइटी ऑफ जीसस’ नाम की एक धार्मिक संस्था शुरू की थी। पुर्तगाल के राजा जॉन थर्ड और उस वक्त के पोप ने जेसुइट मिशनरी बनाकर फ्रांसिस जेवियर को धर्म के प्रचार के लिए भारत में भेजा था। उन्होंने भारत के साथ-साथ चीन और जापान के कई लोगों को ईसाई धर्म में दीक्षा दी थी। उनकी मृत्यु चीन की एक समुद्र यात्रा के दौरान हुई थी।

तीन बार दफनाने के बाद भी ताजा अवस्था में थी बॉडी

जेवियर के बारे में ऐसा कहते हैं कि उन्होंने मौत से पहले शिष्यों को उनके शव को गोवा में दफनाने के लिए कहा था। जिसके बाद फ्रांसिस जेवियर की इच्छा के मुताबिक उनके पार्थिव शव को गोवा में दफनाया गया, लेकिन कुछ सालों बाद रोम से आए संतों के डेलिगेशन ने उनके शव को कब्र से बाहर निकालकर फ्रांसिस जेवियर चर्च में दोबारा दफनाया था। ऐसा कहा जाता है कि उनके शव को 3 बार दफनाया गया था, लेकिन हर बार संत का शरीर उसी ताजा अवस्था में निकला था जैसा उन्हें पहली बार में दफनाया गया था।

जेवियर के शरीर के लिए ये कहानी काफी मशहूर है कि मृत्यु के पहले उन्होंने अपना हाथ दिव्य शक्तियों के जरिए शरीर से अलग कर लिया था। ये हाथ उन्होंने अपनी पहचान के तौर पर रोम से आने वाले संतों के डेलिगेशन के लिए रखा था। इसके साथ उन्होंने एक चिट्ठी भी अपने शिष्यों को दी थी। आज भी ये अलग हुआ हाथ चर्च में ही मौजूद है। ऐसी कहानी भी प्रचलित है कि एक महिला ने सेंट फ्रांसिस जेवियर की डेड बॉडी के पैर पर सुई चुभोई तो उसमें से खून निकला था। ये खून भी तब निकला जब उनकी बॉडी को सूखे सैकड़ों साल हो गए थे।

बेसीलिका ऑफ बोम जीसस का इतिहास

बेसीलिका ऑफ बोम जीसस का उद्घाटन 1605 में फादर एलेक्सियो दे मेनेजेस ने किया था और ये लगभग 400 साल पुराना है। ये पर्यटकों और तीर्थयात्रियों के लिये हर रोज खुला रहता है। इस चर्च के अंदर लोग पूजा कर सकते हैं और जटिल कलाकृतियों को देख सकते हैं जो कि सेंट फ्रांसिस जेवियर के जीवनकाल के बारे में बताती है। इस मकबरे का अधिकांश भाग 17वीं सदी के एक मूर्तिकार गिओवंनी बततिस्ता फोग्गिनी द्वारा बनाया गया था। ये पूरा चर्च जेसुइट वास्तुकला के सिद्धांतों पर बनाया गया है। ऐसा कहा जा रहा है कि चर्च के निवासियों, तीर्थयात्रियों और पर्यटकों के लिये चर्च की छत को जस्ते के द्वारा हरा बनाया जा रहा है। ये वर्तमान में एस्बेस्टोस की छत है जिसकी जगह पर जस्ते की छत बनेगी। यूनेस्को की 400 साल पुरानी विश्व विरासत को संरक्षित करने का ये अभियान भारत में पहला अभियान है।

हर 10 साल में होते हैं दर्शन…

सेंट फ्रांसिस जेवियर की डेड बॉडी आज भी बेसिलिका ऑफ बॉम जीसस के चर्च में रखी है। हर 10 साल में ये बॉडी दर्शन के लिए रखी जाती है। साल 2014 में आखिरी बार इस बॉडी को दर्शन के लिए बाहर निकाला गया था। बॉडी को एक कांच के ताबूत में रखा गया है। आज भी ये बॉडी सड़ी नहीं है।

कैसे पहुंचे?

बेसीलिका ऑफ बोम जीसस गोवा की राजधानी पणजी के काफी पास है। आपको पणजी, वास्को दा गामा शहर या मडगांव से इस चर्च के लिए आसानी से टैक्सी मिल जाएगी। वो तीर्थयात्री जो उत्तर गोवा जैसे कि बागा, कलंगुट और केनडोलिम में रुके हैं उनके लिए भी टैक्सियां उपलब्ध हैं हालांकि अगर आप एक पूरे दिन पणजी और साउथ गोवा के चर्च को देखना चाहते हैं तो अच्छा ये रहेगा कि अपनी खुद की किराये पर ली हुई गाड़ी अपने पास रखें।

मेरा अनुभव कैसा रहा

मैं अपनी फैमिली के साथ अक्टूबर 2019 में गोवा की यात्रा पर गया था. गोवा यात्रा के लास्ट डे यानी 4 अक्टूबर को मैंने एयरपोर्ट के लिए होटल से टैक्सी ली थी और गोवा के कुछ बीच को घूमते हुए मैं इस चर्च में पहुंचा था. चर्च को जानने के लिए मैंने गाइड भी किया था. लगभग दो घंटे मैं और प्रीति इस चर्च में रहे. वापस आकर जब हम टैक्सी में बैठे तो ड्राइवर की कुछ बातों ने हमें हैरान कर दिया. ये ड्राइवर गोवा का ही निवासी था और उसके परिवार के कुछ लोग पुर्तगाल में जाकर बस भी चुके थे. ऐसा इसलिए क्योंकि पुर्तगाल की सरकार ने गोवा के मूल निवासियों के लिए सिटिजनशिप को लेकर कार्ड दिया हुआ है.

गणेश नाम के इस शख्स ने टैक्सी में बैठते ही हमसे पूछा- आपने चर्च अच्छे से घूमा? मैंने जवाब दिया हां… हमने गाइड लिया था. और एक एक चीज को अच्छे से समझा. गणेश ने फिर पूछा- लेकिन इस चर्च में एक बात है जो बाकी चर्च में नहीं है, क्या आपने उसे ऑब्जर्व किया? मैं थोड़ा सवाल की मुद्रा में आ गया, और तपाक से पूछ बैठा, क्या… जरा बताइए. गणेश ने कहा कि इस चर्च के ऊपर क्रॉस नहीं है.

मैंने गर्दन घुमाई और सच में पाया कि चर्च के ऊपर क्रॉस नहीं था. गणेश ने आगे कहा कि ये चर्च शिव मंदिर को तोड़कर बनाया गया है इसलिए इसपर कोई क्रॉस टिकता ही नहीं है. मैंने मन में सोचा कि ऐसी तो कई खबरें मैं हर महीने ही लिखता हूं जिसमें मंदिर मस्जिद और चर्च को लेकर विवाद की कहानियां होती हैं. गणेश की बात में क्या नया है. वह जरूर किसी धर्म से जुड़ा होकर ऐसी बात कह रहा होगा. लेकिन फिर गणेश ने मुझे चर्च की कई और भी बातें बताईं- जैसे, हर दिवाली पर चर्च के पादरी उसके पीछे बने तालाब में दीये जलाते हैं और चर्च के ऊपर कई बार क्रॉस लगाने की कोशिश की गई लेकिन हर बार वो टूट गया.

गणेश मुझे एयरपोर्ट के रास्ते में आने वाली हर चीज की जानकारी देते हुए आ रहा था. वह मेरे लिए टैक्सी चालक से ज्यादा एक गाइड बन चुका था लेकिन गोवा के एक मूल नागरिक और बड़ी बात जिसके पूर्वज पुर्तगाली सरकार के दफ्तर में काम कर चुके थे, उसके मुंह से ये जानकारी सुनना हैरानी भरा जरूर था. अगर आपको इससे संबंधित कोई जानकारी मिले जो हमसे जरूर साझा करे. हमारी ई-मेल आईडी है- GoTravelJunoon@Gmail.Com

Recent Posts

ईरान में भारतीय पर्यटकों के लिए घूमने की बेस्ट जगहें और Travel Guide

Iran Travel Blog : ईरान, जिसे पहले फारस (Persia) के नाम से जाना जाता था,… Read More

4 days ago

Pahalgam Travel Guide : पहलगाम क्यों है भारत का Hidden Heaven? जानिए सफर से लेकर संस्कृति तक सब कुछ

Pahalgam Travel Guide : भारत के जम्मू-कश्मीर में स्थित पहलगाम (Pahalgam) उन चंद जगहों में… Read More

5 days ago

Haifa Travel blog: इजराइल के हाइफा से क्या है भारत का रिश्ता, गहराई से जानिए!

Haifa Travel blog: इजरायल और ईरान युद्ध में जिस एक शहर की चर्चा सबसे ज्यादा… Read More

6 days ago

Unmarried Couples का Entry Ban: आखिर क्या हुआ था Jagannath Temple में राधा रानी के साथ?

Jagannath Puri Temple, ओडिशा का एक ऐसा धार्मिक स्थल है जो न केवल आस्था बल्कि… Read More

7 days ago

केदारनाथ में हेलीकॉप्टर क्रैश क्यों होते हैं? जानें पीछे के 5 बड़े कारण

उत्तराखंड के प्रसिद्ध तीर्थस्थल केदारनाथ तक पहुँचने के लिए हर साल हजारों श्रद्धालु Helicopter Services… Read More

1 week ago

Top 7 Plane Crashes: जब एक पल में खत्म हो गई सैकड़ों जिंदगियां!

Air travel को भले ही आज सबसे सुरक्षित transport modes में गिना जाता है, लेकिन… Read More

2 weeks ago